वीरानें दिल मे भी कोई रहता है।
जो हवा का झोंका बन बहता है।
छू के मुझको जब निकलता है-
मुझे साँसों में भर लो कहता है।
चलो किसीको मेरा इंतजार तो है।
कोई भी हो हमें उससे प्यार तो है।
भले देखा नही कभी मैनें उसको-
लगता है आस-पास कहीं रहता है।
वीरानें दिल मे भी कोई रहता है।
जो हवा का झोंका बन बहता है।
उन्हें शिकायत थी अकेले रहते हैं।
फिर भी खुश है क्यों हम कहते हैं।
खुशी का राज तुम जान लो आज-
तेरी साँसों के साथ वो भी बहता है।
वीरानें दिल मे भी कोई रहता है।
जो हवा का झोंका बन बहता है।
यही प्यास तो आस बन जीवित रहती है।
ReplyDeleteबहुत खूब ... किसी की सांसों में बहना ... ये भी तो जेवण है ... लाजवाब ...
ReplyDeleteसुन्दर प्रस्तुति पर जब दिल को काई रहता है तो वो विराना नही होता है उनकी यादे उसमे बसी होती है
ReplyDeleteयूनिक तकनीकी ब्लाग
सच है ..दिल में कोई रहता है..बहुत सुन्दर अभिव्यक्ति...
ReplyDeleteइस रहने वाले से दोस्ती कर लें
ReplyDeleteइसी की आस इसी की बंदगी कर लें ।
बहुत सुंदर प्रस्तुति आपकी ।
दिल मे कोई रहता हो जीवन गुजारना आसान हो जाता है।
ReplyDeleteवीराने दिल में भी कोई रहता है ,जो हवा का झोंका बन बहता है ,छू के मुझे जब निकलता ,मुझे साँसों में भर लो कहता है ,यही एहसासे मोहब्बत है शायद ,दिल में ये रहता है ...बाली साहब बहुत सुन्दर एहसासात .....
ReplyDeleteram ram bhai
शनिवार, 1 सितम्बर 2012
अमरीकियों का स्वान प्रेम और पर्यावरण
अमरीकियों का स्वान प्रेम और पर्यावरण
Home is where My dog is.
रोज़ शाम को घूमने के लिए निकल जाता हूँ .दिन भर ब्लोगिंग ,बच्चों के स्कूल का अवकाश चल रहा है यहाँ स्कूल सितम्बर के प्रथम सप्ताह में पुन :खुलेंगे सो बीच -बीच में दो नातियों की देखभाल और शाम को लम्बी सैर .सितम्बर ४ से स्कूल खुल जायेगें .फिर मेरा भी रूटीन बदलेगा .फिल- वक्त तो यही दैनिकी है .
khoobasoorat ehasaas
ReplyDeleteखुबसूरत और प्यारे से भाव और अहसास लिए
ReplyDeleteसुन्दर रचना....
:-)
सुन्दर कविता
ReplyDeleteकोई कहता है तो कोई चुप रहता है पर हर किसी के दिल में कोई न कोई रहता है
ReplyDeleteवीराने दिल में भी कोई रहता है......बहुत खूब
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