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Saturday, January 4, 2014

हम खामोश रहते...







हम खामोश रहते थे फिर भी बदनाम हुए।
ऐसे किस्से अपनें,जमानें में अब आम हुए।

उनकी बातॊ से शिकायत थी,फरेब करते है,
अपनी आजमाईश में सदा हम नाकाम हुए।

कौन कहता है, खामोशी भी जवाब होता है,
इसी वजह से मेरे कत्ल सभी अरमान हुए ।

अब  अपनी खमोशी से डर बहुत लगता है,
मेरी जिन्दगी के सब सफर बेलगाम हुए।







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